अमित कुमार शर्मा शाहजहाँपुर। एक ओर उत्तर प्रदेश में जहां मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा एंटी भू माफिया टास्क फोर्स गठित कर भूमाफियाओ...
अमित कुमार शर्मा
शाहजहाँपुर। एक ओर उत्तर प्रदेश में जहां मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा एंटी भू माफिया टास्क फोर्स गठित कर भूमाफियाओ द्वारा कब्जाई जमीनों को मुक्त कराने को प्रयासरत हैं तो वहीं शाहजहांपुर में भू-माफिया भाजपा नेता के हौसले इतने बुलंद हैं कि मकान को हड़पने की नियत से फर्जी बैनामा तक बना दिया।
बात यहीं खत्म नहीं होती क्योंकि मकान खरीदने वाला और मकान बेचने वाला दोनों ही लोगों की मौत बैनामा होने की तारीख से पहले हो चुकी थी।जब दोनों ही लोग मर चुके हैं तो कैसे मरे हुए लोगों के नाम से खरीद फरोख्त हो गई। इस फर्जीवाड़े के संबंध में जब पीड़ित ने पुलिस अधीक्षक के आदेश पर थाना कोतवाली पर तहरीर दी तो राजनेताओं के इशारे पर थाना कोतवाली पुलिस ने FIR दर्ज ना कर पीड़ित को ही जांच के नाम पर टरका दिया।
पीड़ित श्याम सुंदर शर्मा ने बताया कि उन्हें मामले की जानकारी तब हुई जब थाना कोतवाली क्षेत्र के मोहल्ला हुंडाल खेल निवासी आनंद गुप्ता (भाजपा नगर उपाध्यक्ष) और उसके परिजनों द्वारा भेजा नोटिस 9 जून को प्राप्त हुआ।जिसमे भू-माफिया भाजपा नेता का कहना है कि जिस मकान में पीड़ित रहा है वह मकान उसके बाबा अजुध्या प्रसाद ने दिनांक 24-8-1947 को श्यामाचरन नामक व्यक्ति से खरीदा था।जिसका मकान मालिक वह है। और पीड़ित को मकान खाली करने को कहा है। जबकि उक्त मकान पीड़ित का पुश्तैनी है।उनका कहना है जिस व्यक्ति से मकान खरीदना और जिसके हाथ बेचना दिखाया गया है
उन दोनों ही लोगों की मृत्यु बैनामा होने की तारीख से पहले ही हो चुकी थी।जब दोनों ही लोगों मर चुके हैं तो मकान की खरीद-फरोख्त कैसे हो सकती है। पीड़ित ने पुलिस अधीक्षक से मिलकर पूरे उन्हें पूरे मामले की जानकारी दी। पुलिस अधीक्षक के आदेश पर पीड़ित ने थाना कोतवाली पर FIR दर्ज करने हेतु तहरीर भी दी। लेकिन कोतवाली पुलिस भूमाफिया भाजपा नेता आनंद गुप्ता के विरुद्ध FIR दर्ज ना कर पीड़ित को ही जांच के नाम पर परेशान कर रही है।पीड़ित ने न्याय की आशा से भूमाफिया भाजपा नेता के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई करने के संबंध में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, पुलिस महानिदेशक सहित उच्च अधिकारियों को प्रार्थना पत्र दिए हैं।अब देखना यह है कि सुशासन की बात करने वाले अपनी ही पार्टी के भूमाफिया नेता के विरुद्ध क्या कार्यवाही करते हैं।
इस मामले में एक बात सबसे ज्यादा गौर करने वाली है की भू-माफियाओं के हाथ कहां से पुराने जमाने के सादे स्टांप पेपर आ रहे है।
आम चर्चा यह भी है कि भूमाफिया किस्म के लोग वक्फ बोर्ड से स्टांप ले आते हैं और केमिकल की मदद से स्टांप पर लिखा धो देते है। जिससे स्टांप सादा हो जाता है और फिर जिस संपत्ति को हड़पना होता है उसकी फर्जी खरीद-फरोख्त दिखाकर संपत्ति को हड़प लेते है।मामले की सही तरह जांच की जाए तो मामले में बहुत बड़े रैकेट का खुलासा भी हो सकता है।