शिवाकांत अवस्थी महराजगंज/रायबरेली: जनपद में आधार बनवाते समय डाले गए मोबाइल नंबरों से समस्या हो गई है। आधार बनवाकर बाजार में हुई संचार क...
शिवाकांत अवस्थी
महराजगंज/रायबरेली: जनपद में आधार बनवाते समय डाले गए मोबाइल नंबरों से समस्या हो गई है। आधार बनवाकर बाजार में हुई संचार क्रांति की लड़ाई में सैंकड़ों लोगों ने मोबाइल नंबर दूसरे लोगों ने ले लिए। ऐसे में अब पूर्व में दर्ज मोबाइल नंबर बदलने या बंद होने से योजनाओं के लाभ के लिए ओटीपी पासवर्ड को वरीयता नहीं मिल पा रही है। आधार लिंक नहीं होने से योजनाओं का लाभ लोगों को नहीं मिल पा रहा है। खुद की गलती ठीक कराने के लिए डाकघरों में अब लंबी लाइनें लग रही हैं। संशोधन को लेकर भीड़ उमड़ रही है।
आपको बता दें कि, आधार के लिए महराजगंज डाकघर पर आ रही भीड़ में ज्यादातर नागरिक संशोधन कराने वाले होते हैं। उसमें संशोधन और खामी दूर कराने को आने वालों की वजह से भीड़ ज्यादा दिख रही है। किसी को मोबाइल नंबर ठीक कराना है तो किसी को पता। जिसके लिए लोग सुबह 5:00 बजे से ही लाइन में लगकर डेरा डाले हुए हैं।
यहां के डाकघर पर तो रात से ही आधार बनवाने की चाहत में नागरिक सुबह 4 बजे से ही डेरा जमा लेते हैं। ऐसे नागरिकों का हर काम यहीं खुले आसमान के नीचे होता है। पूरे जनपद के मुख्य डाक घरों में भी सुबह से ऐसे नागरिक बैठे नजर आते हैं। इसलिए कि, कहीं वे छात्रवृत्ति, प्रधानमंत्री आवास, शौचालय, प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि जैसी शासन द्वारा चलाई जा रही अनेक योजनाओं से वंचित ना हो जाएं।
आधार की समस्या से बच्चे, महिलाएं, युवक, युवतियां और अन्य नागरिक जूझ रहे हैं। ऐसे में आधार का संकट विद्यार्थियों से लेकर आम नागरिक तथा किसानों को ज्यादा परेशान कर रहा है। चाहे वह बैंक में खाता खोलने को हो, चाहे सरकारी निजी स्कूलों में दाखिले को, सामूहिक विवाह योजना को, सरकारी अनुदान को लेकर हो और चाहे सरकारी नौकरी के आवेदन को लेकर आधार के लिए सभी परेशान है।
महराजगंज के मुख्य डाकघर में आधार बनवाने वालों को सुबह टोकन दिए जाते हैं, शाम 7:00 बजे तक इनको बनाने का काम होता है। लाइन लंबी होने से तमाम नागरिक इससे वंचित रह जाते हैं। आधार कार्ड बनवाने को लेकर डाकघर के अलावा बैंकों में यह काम न होने की वजह से यह समस्या ज्यादा हो रही है।
डाक के पोस्ट मास्टर तपस कुमार गौतम बताते हैं कि, एक व्यक्ति ही डबल काउंटर संभलता है और प्रिंटर खराब हो जाने से ग्राहक को दिक्कत हो रही है जिसकी वजह से लंबी-लंबी लाइनें लग रही है।
वहीं यहां के डाक सहायक नरसिंह चौधरी बताते हैं कि, भारत सरकार ने बैंक ऑफ बड़ौदा, स्टेट बैंक, पंजाब नेशनल बैंक को आदेश दिया है कि, वह आधार कार्ड बनाए, लेकिन शासनादेश के बाद यह संस्थाएं आधार कार्ड नहीं बना रही है, ये सिर्फ अपने ग्राहकों का ही आधार कार्ड बनाती है अन्य कोई जाता है तो उसे भगा देती है। पिछले लगभग 1 वर्ष से महराजगंज में उपर्युक्त बैंकों द्वारा आधार कार्ड नहीं बनाया जा रहा है जिसकी वजह से यहां आधार कार्ड बनवाने वालों की लंबी भीड़ लगती है।
उन्होंने यह भी बताया कि, इनके यहां जनपद में कहीं का भी व्यक्ति आधार कार्ड बनवाने या ठीक कराने आता है उसका काम किया जाता है, जिससे यहां प्रतिदिन 50 आधार कार्ड बनाए जाते हैं जबकि 1 घंटे में मैक्सिमम 7 या 8 आधार कार्ड बनते हैं। नरसिंह चौधरी आगे बताते हैं कि, यह प्रतिदिन 8 घंटे से ज्यादा काम करते हैं उन्होंने यह भी बताया कि, सेमरौता, तिलोई, हरचनदपुर के डाकघरों में आधार कार्ड नहीं बनाए जाते हैं, जिसकी वजह से महराजगंज में आधार कार्ड बनवाने व करेक्शन करवाने वालों की काफी भीड़ इकट्ठा हो जाती है।
उपर्युक्त बयान की पुष्टि करने जब हमारी टीम कस्बे के रायबरेली रोड स्थित बीओबी बैंक पहुंची तो वहां पाया कि, नए तथा करेक्शन के मामले में आधार कार्ड सुचारू रूप से बनाए जा रहे हैं। जिसके लिए लोगों की लंबी भीड़ देखने को मिली। जब हमारे संवाददाता ने आधार कार्ड बनवाने आए लोगों से बात की तो लोगों ने बताया कि, वह इस बैंक के ग्राहक नहीं है फिर भी उनका आधार ठीक करने के लिए कहा गया। वही ब्रांच के अंदर आधार कार्ड बना रहे "कनिष्क खुराना" ने बताया कि, उनके यहां प्रतिदिन सुचारू रूप से आधार कार्ड बनाए जाते हैं। चाहे उनकी बैंक का ग्राहक हो या अन्य, सभी को सुचारू रूप से सेवाएं दी जा रही है। जबकि, एसबीआई में हमारी टीम ने पहुंच कर देखा तो आधार कार्ड बनते नहीं पाए गए, हमारे संवाददाता ने इस बाबत वहां के बैंक मैनेजर वीरेन्द्र बहादुर से बात कि, तो उन्होंने बताया कि, उनकी सिटी शाखाओं में यह सुविधाएं लोगों को मुहैया कराई गई हैं जबकि टाउन एरिया की ब्रांचों में ऐसा कोई शासनादेश उनके संज्ञान में नहीं है।
महराजगंज/रायबरेली: जनपद में आधार बनवाते समय डाले गए मोबाइल नंबरों से समस्या हो गई है। आधार बनवाकर बाजार में हुई संचार क्रांति की लड़ाई में सैंकड़ों लोगों ने मोबाइल नंबर दूसरे लोगों ने ले लिए। ऐसे में अब पूर्व में दर्ज मोबाइल नंबर बदलने या बंद होने से योजनाओं के लाभ के लिए ओटीपी पासवर्ड को वरीयता नहीं मिल पा रही है। आधार लिंक नहीं होने से योजनाओं का लाभ लोगों को नहीं मिल पा रहा है। खुद की गलती ठीक कराने के लिए डाकघरों में अब लंबी लाइनें लग रही हैं। संशोधन को लेकर भीड़ उमड़ रही है।
आपको बता दें कि, आधार के लिए महराजगंज डाकघर पर आ रही भीड़ में ज्यादातर नागरिक संशोधन कराने वाले होते हैं। उसमें संशोधन और खामी दूर कराने को आने वालों की वजह से भीड़ ज्यादा दिख रही है। किसी को मोबाइल नंबर ठीक कराना है तो किसी को पता। जिसके लिए लोग सुबह 5:00 बजे से ही लाइन में लगकर डेरा डाले हुए हैं।
यहां के डाकघर पर तो रात से ही आधार बनवाने की चाहत में नागरिक सुबह 4 बजे से ही डेरा जमा लेते हैं। ऐसे नागरिकों का हर काम यहीं खुले आसमान के नीचे होता है। पूरे जनपद के मुख्य डाक घरों में भी सुबह से ऐसे नागरिक बैठे नजर आते हैं। इसलिए कि, कहीं वे छात्रवृत्ति, प्रधानमंत्री आवास, शौचालय, प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि जैसी शासन द्वारा चलाई जा रही अनेक योजनाओं से वंचित ना हो जाएं।
आधार की समस्या से बच्चे, महिलाएं, युवक, युवतियां और अन्य नागरिक जूझ रहे हैं। ऐसे में आधार का संकट विद्यार्थियों से लेकर आम नागरिक तथा किसानों को ज्यादा परेशान कर रहा है। चाहे वह बैंक में खाता खोलने को हो, चाहे सरकारी निजी स्कूलों में दाखिले को, सामूहिक विवाह योजना को, सरकारी अनुदान को लेकर हो और चाहे सरकारी नौकरी के आवेदन को लेकर आधार के लिए सभी परेशान है।
महराजगंज के मुख्य डाकघर में आधार बनवाने वालों को सुबह टोकन दिए जाते हैं, शाम 7:00 बजे तक इनको बनाने का काम होता है। लाइन लंबी होने से तमाम नागरिक इससे वंचित रह जाते हैं। आधार कार्ड बनवाने को लेकर डाकघर के अलावा बैंकों में यह काम न होने की वजह से यह समस्या ज्यादा हो रही है।
डाक के पोस्ट मास्टर तपस कुमार गौतम बताते हैं कि, एक व्यक्ति ही डबल काउंटर संभलता है और प्रिंटर खराब हो जाने से ग्राहक को दिक्कत हो रही है जिसकी वजह से लंबी-लंबी लाइनें लग रही है।
वहीं यहां के डाक सहायक नरसिंह चौधरी बताते हैं कि, भारत सरकार ने बैंक ऑफ बड़ौदा, स्टेट बैंक, पंजाब नेशनल बैंक को आदेश दिया है कि, वह आधार कार्ड बनाए, लेकिन शासनादेश के बाद यह संस्थाएं आधार कार्ड नहीं बना रही है, ये सिर्फ अपने ग्राहकों का ही आधार कार्ड बनाती है अन्य कोई जाता है तो उसे भगा देती है। पिछले लगभग 1 वर्ष से महराजगंज में उपर्युक्त बैंकों द्वारा आधार कार्ड नहीं बनाया जा रहा है जिसकी वजह से यहां आधार कार्ड बनवाने वालों की लंबी भीड़ लगती है।
उन्होंने यह भी बताया कि, इनके यहां जनपद में कहीं का भी व्यक्ति आधार कार्ड बनवाने या ठीक कराने आता है उसका काम किया जाता है, जिससे यहां प्रतिदिन 50 आधार कार्ड बनाए जाते हैं जबकि 1 घंटे में मैक्सिमम 7 या 8 आधार कार्ड बनते हैं। नरसिंह चौधरी आगे बताते हैं कि, यह प्रतिदिन 8 घंटे से ज्यादा काम करते हैं उन्होंने यह भी बताया कि, सेमरौता, तिलोई, हरचनदपुर के डाकघरों में आधार कार्ड नहीं बनाए जाते हैं, जिसकी वजह से महराजगंज में आधार कार्ड बनवाने व करेक्शन करवाने वालों की काफी भीड़ इकट्ठा हो जाती है।
उपर्युक्त बयान की पुष्टि करने जब हमारी टीम कस्बे के रायबरेली रोड स्थित बीओबी बैंक पहुंची तो वहां पाया कि, नए तथा करेक्शन के मामले में आधार कार्ड सुचारू रूप से बनाए जा रहे हैं। जिसके लिए लोगों की लंबी भीड़ देखने को मिली। जब हमारे संवाददाता ने आधार कार्ड बनवाने आए लोगों से बात की तो लोगों ने बताया कि, वह इस बैंक के ग्राहक नहीं है फिर भी उनका आधार ठीक करने के लिए कहा गया। वही ब्रांच के अंदर आधार कार्ड बना रहे "कनिष्क खुराना" ने बताया कि, उनके यहां प्रतिदिन सुचारू रूप से आधार कार्ड बनाए जाते हैं। चाहे उनकी बैंक का ग्राहक हो या अन्य, सभी को सुचारू रूप से सेवाएं दी जा रही है। जबकि, एसबीआई में हमारी टीम ने पहुंच कर देखा तो आधार कार्ड बनते नहीं पाए गए, हमारे संवाददाता ने इस बाबत वहां के बैंक मैनेजर वीरेन्द्र बहादुर से बात कि, तो उन्होंने बताया कि, उनकी सिटी शाखाओं में यह सुविधाएं लोगों को मुहैया कराई गई हैं जबकि टाउन एरिया की ब्रांचों में ऐसा कोई शासनादेश उनके संज्ञान में नहीं है।